कार्यक्रम

धर्म की स्थापना को होता है प्रभु का अवतरण : स्वामी बलरामाचार्य

वृन्दावन।कैलाश नगर-सेक्टर 2 स्थित कल्पतरु सेवा संस्थान में चल रहे श्रीमद्भागवत कथा सप्ताह ज्ञान यज्ञ में व्यासपीठ से प्रख्यात भागवताचार्य धर्मरत्न स्वामी बलरामाचार्य महाराज ने भक्तों को श्रीकृष्ण जन्म की कथा श्रवण कराते हुए कहा कि जब-जब पृथ्वी पर धर्म की हानि होती है और अधर्म व पाप बढ़ने लगता है,तब-तब धर्म की पुनर्स्थापना करने एवं अधर्म का नाश करने के लिए भगवान नारायण मनुष्य रूप में अवतरित होते हैं।द्वापर युग में आतातायी कंस के अत्याचारों से ग्रस्त पृथ्वी को उबारने के लिए ही श्रीकृष्ण का प्राकट्य हुआ।
स्वामी बलरामाचार्य महाराज ने कहा कि परब्रह्म परमेश्वर भगवान श्रीकृष्ण सर्वव्यापक व लीला पुरुषोत्तम हैं।वे अपने उन भक्तों की अभिलाषा हेतु पृथ्वी पर आते हैं,जो युगों-युगों तक अपने आराध्य के दर्शनों के लिए घोर साधना कर रहे होते हैं।श्रीकृष्ण अवतार में प्रभु ने बड़े-बड़े राक्षसों का उद्धार करने पृथ्वी को राक्षस विहीन करके पुनः धर्म की स्थापना की थी।
वरिष्ठ साहित्यकार डॉ. गोपाल चतुर्वेदी ने कहा कि कल्पतरु सेवा संस्थान ट्रस्ट के तत्वावधान में श्रीधाम वृन्दावन के अलावा अन्य स्थानों पर भी लोक कल्याण के जो अनेकानेक कार्य किए जा रहे हैं,वे अति प्रशंसनीय हैं। मैं प्रभु से इस ट्रस्ट के उज्जवल भविष्य की मंगल कामना करता हूं।
इसके उपरांत श्रीमद्भागवत कथा में नंदोत्सव मनाया गया।साथ ही श्रीकृष्ण जन्म की बधाई गाई गईं। नंदोत्सव में कथा के मुख्य यजमान सुनील कपूर व मयंक कपूर (पठानकोट) के द्वारा मेवा-मिष्ठान, रुपए-कपड़े, खेल-खिलौने आदि भी लुटाए गए।
इस अवसर पर पंडित बिहारीलाल वशिष्ठ,आचार्य रामविलास चतुर्वेदी,व्याकरणाचार्य विष्णुदत्त त्रिपाठी,महामंडलेश्वर स्वामी कृष्णानंद महाराज, युवा साहित्यकार डॉ. राधाकांत शर्मा,आचार्य कृष्णा त्रिपाठी, जुगल किशोर अवस्थी,अमित अवस्थी,धर्मगुरु सुशील कुमार त्रिपाठी,चंदन त्रिपाठी,पूनम त्रिपाठी व कंचन त्रिपाठी के अलावा विभिन्न प्रांतों से आए असंख्य भक्त-श्रद्धालु उपस्थित रहे।
डॉ. गोपाल चतुर्वेदी

Live News

Advertisments

Advertisements

Advertisments

Our Visitors

0111367
This Month : 6688
This Year : 48660

Follow Me